सित॰, 26 2025
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कैफ़े में चार घंटे की अनकही बातचीत
जब भारत की पुरुष और महिला दोनों क्रिकेट टीमें एक ही न्यूज़ीलैंड होटल में ठहरीं, तो एक छोटा सा कैफ़े अचानक बड़े दिलचस्प मोड़ पर पहुंचा। Jemimah Rodrigues और Smriti Mandanda ने Virat Kohli से बैटिंग के टिप्स माँगे। ऐसा सुनते ही कोहली ने उन्हें अपने साथ कैफ़े में बुलाया, जहाँ अनुष्का शर्मा भी साथ थीं।
पहले तो चर्चा सिर्फ टेक्निकल थी – कैसे टेक्टिकल शॉट्स खेलें, पैर की पोज़िशन और फील्डिंग के छोटे‑छोटे ट्रिक्स। कोहली ने महिलाओं को "आप दोनों के पास भारतीय महिला क्रिकेट को बदलने की ताकत है," ऐसा प्रेरक वाक्य कहा। यह शब्द सुनकर जेमिमाह और स्मृति दोनों की आँखों में चमक आ गई।
जैसे ही देर होनी शुरू हुई, बात का दायरा बॉलिंग से ड्रिंक्स, खाने से जीवन के बड़े सवालों तक फैल गया। पूरे समूह ने अपने अनुभव, सपने और कभी‑कभी निराशा भी साझा की। जेमिमाह ने कहा कि वो ऐसे माहौल में बैठीं जैसे पुराने दोस्त मिले हों। सब ने हँसी‑मजाक में बातें कीं, लेकिन साथ ही अंदरूनी गहराई भी बनी रही।
समय कैसे बीतता है, इस पर भी कोई पूछताछ नहीं हुई। चार घंटे बाद ही कैफ़े का स्टाफ आकर बोले, "आपका समय पूरा हो गया, कृपया बाहर निकलें।" जेमिमाह ने मजाक में कहा, "हमें रोका सिर्फ़ उन्हें ही नहीं, बल्कि हम खुद भी नहीं चाहती थीं कि बात खत्म हो।" यह छोटा‑सा एपीसोड टीम‑स्पिरिट और व्यक्तिगत जुड़ाव की एक यादगार कहानी बन गया।

Virat‑Anushka की सहज शैली और युवा खिलाड़ियों पर असर
कोहली‑शर्मा की इस सादगी ने फिर से साबित किया कि बड़ी पब्लिक इमेज के पीछे भी दो साधारण लोग हैं, जो आम बातों में खुश रहना पसंद करते हैं। वे अक्सर भारत के मीडिया की तेज़ निगाहों से दूर रहने के लिए लंदन में रहते हैं, पर कभी‑कभी ऐसे मौके उनके दिल के करीब आ जाते हैं।
जवानी के खिलाड़ियों के लिए यह एक बड़ा सीखने का दौर था। जेमिमाह ने बताया कि कोहली से मिलने के बाद उनका आत्मविश्वास दुगना हो गया, खासकर जब उन्होंने कहा कि महिलाएं "परिवर्तन की शक्ति रखती हैं"। स्मृति ने भी कहा कि कोहली के शब्दों ने उन्हें खुद पर भरोसा बढ़ाने में मदद की।
यह घटना सिर्फ़ एक रोचक किस्सा नहीं, बल्कि महिला क्रिकेट के इंतज़ार में एक समर्थन का संकेत है। कोहली की बातों से यह साफ़ हुआ कि वह सिर्फ़ पुरुष क्रिकेट ही नहीं, बल्कि महिला खिलाड़ियों के विकास में भी दिलचस्पी रखते हैं। उनका यह रवैया हमारी राष्ट्रीय टीमों के बफ़र को और मजबूत बनाता है।
कैफ़े में चार घंटे का संवाद, जो बॉलिंग और बैटिंग से शुरू हुआ, अंततः ज़िंदगी की बड़ी बातें तक पहुँच गया। यह सब एक साधारण कैफ़े में हुआ, जहाँ दो बड़े सितारे और दो उभरती खिलाड़ी अपनी कहानियों को मिलाते हुए एक नई ऊर्जा पैदा कर रहे थे। अब यह कहानी सिर्फ़ एक शॉर्ट वर्ड से नहीं, बल्कि भारतीय खेल के भविष्य की एक नई धारा का संकेत है।