एल. के. आडवाणी: भाजपा के पितामह का स्वास्थ्य अद्यतन

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता और पूर्व उप-प्रधानमंत्री लाल कृष्ण आडवाणी को नई दिल्ली के अपोलो अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया है। 96 वर्षीय आडवाणी को बुधवार को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। यह घटना उस समय की है जब वह कुछ ही दिन पहले अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) से एक रात के ठहराव के बाद डिस्चार्ज होकर आए थे।

बेटी के साथ पहुंचे अस्पताल

बुधवार रात लगभग 9 बजे आडवाणी को उनकी बेटी प्रतिभा आडवाणी के साथ अपोलो अस्पताल लाया गया था। अस्पताल में उनके रहने के दौरान उनकी स्थिति स्थिर रही। इससे पहले भी आडवाणी ने स्वास्थ्य समस्याओं का सामना किया था, लेकिन इस बार उनकी स्थिति गंभीर नहीं थी।

भारत रत्न से हुए सम्मानित

30 मार्च, 2024 को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने आडवाणी को भारत का सर्वोच्च नागरिक सम्मान, भारत रत्न, प्रदान किया था। यह हर भारतीय के लिए गर्व का क्षण था जब भाजपा के इस वरिष्ठ नेता को देश का सबसे बड़ा सम्मान मिला।

राजनीति का दीर्घकालिक योगदान

8 नवंबर, 1927 को कराची (अब पाकिस्तान में) जन्मे आडवाणी 1942 में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) में शामिल हुए। 1980 में भाजपा की स्थापना के बाद से ही उन्होंने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। वह 1986 से 1990, फिर 1993 से 1998 और पुनः 2004 से 2005 तक पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे।

वाजपेयी के साथ सफल साझेदारी

लगभग तीन दशकों से संसद सदस्य रहे आडवाणी ने अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व वाली कैबिनेट में गृह मंत्री और बाद में उप-प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। 1999 से 2004 तक उनकी यह भूमिका निर्विवाद रही। उनकी राजनीतिक कुशलता और रणनीतिक सोच ने भाजपा को बड़ी ऊंचाइयों तक पहुंचाया।

प्रधानमंत्री पद के दावेदार

2009 के आम चुनावों में आडवाणी को भाजपा के प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार माना गया था। हालांकि, चुनाव परिणामों के बाद उन्होंने विपक्ष के नेता के तौर पर भूमिका निभाई और पार्टी की अगुवाई सुषमा स्वराज के हाथों सौंप दी। इस कदम ने पार्टी में नई ऊर्जा भरी और नए नेतृत्व को प्रतिष्ठित किया।

निजी जीवन और विरासत

आडवाणी का जीवन राजनीति में समर्पित रहा और उन्होंने संघ, जनसंघ और भाजपा के विभिन्न रूपों में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनके निजी जीवन में अनुशासन, विचारशीलता और राष्ट्रहित के प्रति उनकी प्रतिबद्धता ने उन्हें एक आदर्श नेता स्थापित किया।

आज भी आडवाणी का स्वास्थ्य और उनकी लगायत भाजपा के लिए प्रेरणा स्रोत है। उनके विचार और दृष्टिकोण नई पीढ़ियों को मार्गदर्शन करते रहेंगे।